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Monday, 12 August 2013

चिदंबरम कुरियन के बीच तकरार





एक अप्रत्याशित घटनाक्रम में आज राज्यसभा में प्रक्रिया को लेकर वित्त मंत्री पी चिदंबरम और उपसभापति पीजे कुरियन के बीच तकरार हो गई जिसके चलते सदन की कार्यवाही करीब एक घंटे तक बाधित रही। यह तकरार तब शुरू हुई जब कुरियन ने सदन में विपक्ष के नेता अरूण जेटली को जम्मू कश्मीर के हिंसा प्रभावित किश्तवाड़ इलाके की स्थिति पर अपनी बात रखने के लिए कहा। इससे पहले भाजपा सदस्यों ने जोरदार मांग की थी कि इस मुद्दे पर जेटली को बोलने दिया जाए क्योंकि रविवार को उन्हें किश्तवाड़ जाने की अनुमति नहीं दी गई थी।

इस बीच, चिदंबरम ने कहा कि वह इस मुद्दे पर बयान देना चाहते हैं और उन्हें पहले अनुमति दी जानी चाहिए। कुरियन ने कहा कि चूंकि वह पहले ही जेटली को अपनी बात रखने की अनुमति दे चुके हैं लिहाजा वित्त मंत्री जेटली के बाद बयान दे सकते हैं। उन्होंने चिदंबरम से कहा कि अगर उन्हें बयान देना था तो उन्हें इसकी सूचना पहले देनी चाहिए थी। इस पर चिदंबरम ने नाराजगी जताते हुए कहा ‘यह बिल्कुल नयी प्रक्रिया है। मैं सम्मानजनक तरीके से इस पर अपना विरोध दर्ज कराना चाहता हूं।’ कांग्रेस के अहमद पटेल, अंबिका सोनी और सत्यव्रत चतुर्वेदी ने चिदंबरम की बात का समर्थन करते हुए आसन से कहा कि सरकार को इस मुद्दे पर बयान देने की अनुमति पहले दी जानी चाहिए।

बहरहाल, कुरियन अपनी बात पर कायम रहे और कहा, ‘मैं जब यहां आया तो मैंने विपक्ष के नेता को बोलने की अनुमति दी। मुझे सरकार की ओर से कोई सूचना नहीं मिली थी। आपको पहले सूचित करना चाहिए था। मैंने विपक्ष के नेता को अपनी बात रखने की अनुमति दे दी है।’ दूसरी ओर चिदंबरम आसन के फैसले पर लगातार अपना विरोध जताते रहे। भाजपा सदस्यों ने आसन के फैसले पर सत्तारूढ़ दल की आपत्तियों को लेकर विरोध जताया। इस पर हंगामा शुरू हो गया जिसके कारण कुरियन ने दोपहर 12 बज कर करीब दस मिनट पर बैठक आधे घंटे के लिए स्थगित कर दी।

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